फ़िल्म के विषय में
कथासार:
वेन्या जब दो साल की थी, उसके माता-पिता का तलाक हो गया और उसके बाद वह अपने पिता और सौतेली मां के साथ रही। उसकी सौतेली मां उसे स्वीकार नहीं कर पाई और हमेशा उसके पिता के साथ झगड़ा करती रही। उसके पिता के पास वेन्या को उसकी मां के घर भेजने के अलावा कोई और चारा न रहा, परंतु उसकी मां अपने कारोबार को चलाने में पूरी तरह व्यस्त थी और उसके पास वेन्या का ध्यान रखने के लिए कोई समय नहीं था, इसलिये वह अक्सर अपने रिश्तेदारों और दोस्तों के घर लालन-पालन के लिए धक्का खाती रही। दूसरों के यहां लालन-पालन के कई वर्षों के पश्चात् नन्ही सी वेन्या अकेली और असहाय महसूस करने लगी और एक घर के अपनेपन के लिए लालायित होने लगी। जब उसके पिता और सौतेली मां का तलाक हुआ, तभी वह अपने पिता के घर आ पाई और उसके बाद ही, अच्छे या बुरे के लिए, उसे एक घर मिल पाया।